एजेन्सी ।। किडनिमे होएवाला पत्थरी सामान्यता चार प्रकारके होखले । क्याल्सियम अक्जालेट पत्थरी,फस्फेट पत्थरी,युरिक एसिड पत्थरी आ सिस्टिन पत्थरी । ८० प्रतिश्त से जादा लागेमे क्याल्सियम अक्जालेट पत्थरी मिल्ले ।
पत्थरीके प्रकार अनुसार उचित आहार व्यस्थापन हि एकर रोकथाम एवं इलाजके निम्ति उत्तम उपाय हए । ओहिसे पत्थरीके रोगी सेवन करेवाला आ नकरे वाला खाएवाला सबके बारेमे जानकारी राखेके चाहि ।
पत्थरीके रोगीसब यि चिज नखाउ
– अक्जालेट जादा मात्रामे खाएवाला समान
– पालक एवं चौलाई,
– अमला
– गोलभेंडा
– काजु
– करइया अंगर
– चकलेट
– चाय एवं कफी
– केरा पेय पदार्थसब ।
जादा मात्रामे अक्जालेट मिलेवाल खाएलासे क्याल्सिय अक्जालेट पत्थरी होएके सम्भावना जादा रहले ।
–युरिक एसिड बढावे वाला खाएवाला चिज
– मास मछरी
– कोमहरा
– च्याउ
– भेण्डा ।
जादा मात्रामे युरिक एसिड बढावे वाला खाएलासे यूरिक एसिड पत्थरी होएके सम्भावना जादा रहले ।
पत्थरीके रोगी खाएवाला हए बदाम
बदाम
बदाम म्याग्नेसियम आ पोटासियम जादा मात्रामे मिलि वाला पत्थरी बने नदेवले ।
केरा
केरामे जादा मात्रामे भिटामीन बी ६ मिल्ले । जौनासे अक्जिालिक एसिडके अलग करेमे मद्धत करले ।
जौं
जादा मात्रामे पेसाब लगावेके साथे एमे ेपत्थरी प्रतिरोधात्मक तत्बसब रहले ।
नारियल
पत्थरी बनेवाला प्रक्रियाके अवरोध करले ।
कर्नसिल्क
पेसाब जादा मात्रामे लगावले । मूत्रथैलीके सुरक्षा प्रदान करले । पत्थरीके निमूल करले ।
गँजरा
भिटामीन ए प्रशस्थ मात्रामे मिल्ले । जौनाके कमीसे पत्थरी होएके सम्भावना जादा रहले ।
कागती
साइट्रेड जादा मात्रामे रहले । जौनासे क्यल्सियम अक्जालोट पत्थरी बने नदेवले ।
करेला
म्याग्नेसियम फस्फोरस चाहि अन्य पदार्थसब मिल्ले । जौनासे पत्थरी बनेवाला प्रक्रियामे अवरोध करले ।
मूला
पत्थरी अलग करेमे मद्धत करले ।
ध्यान देवे वाला बात
प्राय ५ एमएम से कम साइजके पत्थरीसब प्रशस्त मात्रामे पानी पिलासे पेसाबके माध्यमसे स्वत बाहर निकल्ले । हरेक दिन पेसाबके मात्रा कम्तिमे भि २–३ लिटर होएके परल । पेट दुखाई जादा भेलामे ,पेसाबमे खुन देखलामे,पेसाब करेमे दिक्कत भेलामे एवं जादा समस्या भेला पर डाक्टरके परामर्श लिउ । खानामे नुनके मात्रा कम करु ।
किडनिमे पत्थरी भेल रोगीक कथि नखाएके आ खाएके
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